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फ़रवरी, 2011 की पोस्ट दिखाई जा रही हैं

धुंध, सिगमंड फ्रायड और शाम का सूर्योदय :पहला भाग

वो खिड़की के पास खड़ा है | हमेशा की तरह सिगरेट उसकी उँगलियों के बीच तिल तिल जल रही है | गैलरी के दूसरे सिरे पर खड़ा मैं उसे गौर से देख रहा हूँ, और अलग खिड़की से बाहर | अलग, हाँ ये उसका वास्तविक नाम नहीं लेकिन यही नाम है जिससे उसे हर कोई जानता है नीलकंठ में | उसने थोडा और आगे बढ़कर खिड़की पर लगे कांच के दरवाजे खोल दिए | ठंडी हवा का झोंका अन्दर घुस आया | ये सिर्फ ठंडी हवा नहीं, हड्डियों को कंपा देने वाली दिसम्बर की बर्फीली शीत है | मेरे बदन में न चाहते हुए भी हलकी झुरझुरी दौड़ गयी, लेकिन अलग निश्चिन्त खड़ा था | सिगरेट का धुंआ उसे घेरे हुए था, जाने कितनी वीं सिगरेट थी | सर्दी की लहर से बचने के लिए उसने अपने आसपास धुंए की गर्म परत चढ़ा ली थी | सिगरेट पीने के मामले में उसका कोई तोड़ नहीं है | लेकिन आज वो पी कम रहा था , आसपास धुंआ ज्यादा फैला रहा था | उसकी उँगलियाँ उठती हैं, और फिर धीरे धीरे कुछ देर बाद नीचे गिर जाती हैं , अलग और उसकी सिगरेट दोनों धुंआ उगलने लगते हैं | मैं उसे काफी देर से देख रहा हूँ | मैं शाम की चाय के लिए तीसरे तल पर बने कहवाघर में आया , उसे अकेले खड़ा देखकर रुक गया | उ...

कहानी

(अकिरा कुरोसावा की फिल्म ड्रीम्स के दृश्य में वैन गोग की पेंटिंग, साभार : गूगल)  लिखना मन की परतों को खोलने जैसा है, एक के बाद एक सतह | लिखकर आप लगातार भीतरी सतह पर प्रवेश करते जाते हैं | यह सब मैं पढ़ चुका हूँ, कई बार , कई जगह | शब्द थोड़े बहुत इधर उधर होते होंगे, मजमून नहीं बदलता | शायद औरों के लिए लिखना अपनी दबी हुई इच्छाओं को निकालना, कुछ के लिए अपनी अन्दर छिपी आदमियत को रचनात्मक संतुष्टि देना है | कुछ स्वान्त सुखाय जैसा शब्द भी बताते हैं, जिसका अर्थ मुझे नहीं पता | मुझे याद है मेरा एक सहपाठी कहता था कि ये आर्ट, कुछ लिखना, पेंटिंग वगैरह ये उन लोगों के काम हैं जो समाज के सामने अपने आप को व्यक्त नहीं कर पाते | अपनी भावनाएं सबके सामने न व्यक्त कर पाने की मजबूरी ही इन्हें कलाकार, लेखक, पेंटर बनाती है | फ़िलहाल आप मेरे बारे में जानना चाहेंगे | मेरे लिए लिखना दर्द से गुजरने जैसा है | कुछ कुछ ऐसा जैसे बिलखना चाहते हैं , मगर नहीं रो पाते | ठहाका लगाना चाहते हैं, हँस भी नहीं पाते | मेरे समानांतर दो दुनिया चलती है | कहानी में बेग साहब के बेटे को मार दिया है; मेरी माँ, भाई , बहनें ये ...